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हैक-ओ-होलिक: नवाचार और कोडिंग से समाधान खोज रहे छात्र-छात्राएं

हैक-ओ-होलिक: नवाचार और कोडिंग से समाधान खोज रहे छात्र-छात्राएं

देहरादून, 26 अप्रैल। ग्राफिक एरा के छात्र-छात्राएं कोडिंग स्किल्स का उपयोग करके समाज की ज्वलंत समस्याओं के समाधान खोज रहे हैं। वे लगातार एक दिन और एक रात प्रोटोटाइप बनाकर अपनी प्रतिभा नुमायां करेंगे।

ग्राफिक एरा हिल यूनिवर्सिटी में हैक-ओ-होलिक नामक रोचक तकनीकी प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इसमें छात्र-छात्राओं की 110 टीमों को विभिन्न वर्गों में समस्याएं दी गई हैं। उन्हें 24 घंटों के अंदर एआई/एमएल, आईओटी, वेब एप्लीकेशन व अन्य तकनीकों की मदद से प्रोटोटाइप तैयार करने होंगे। 

आज विश्वविद्यालय कुलपति प्रो० राकेश कुमार शर्मा ने उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि ऐसी हैकथॉन प्रतियोगिताएं छात्र-छात्राओं में टीम भावना, नवाचार व रचनात्मकता का विकास करती हैं। उन्होंने कहा साथ ही अपने आइडियाज को सच में बदलने का यह जोश छात्र-छात्राओं को मानसिक रूप से भी मजबूत बनाएगा। ये कौशल उद्योग जगत में कामयाबी हासिल करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।

प्रतियोगिता में छात्र-छात्राएं सोशल मीडिया व इंटरनेट पर फर्जी तस्वीरों (डीप फेक) का पता लगाने वाला एआई मॉडल बना रहे हैं। इसके साथ ही वे वरिष्ठ नागरिकों के लिए डिजिटल प्लेटफॉर्म, आपदा आने पर रेस्क्यू में सहायता देने वाला सिस्टम, उपभोक्ताओं की पसंद के आधार पर तकनीक से जुड़ी खबरें देने वाला ऐप व इशारों पर आधारित आपातकालीन अलर्ट सिस्टम भी तैयार कर रहे हैं। 

प्रतियोगिता में विजय छात्र-छात्राओं को नगद पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। हैक-ओ-होलिक प्रतियोगिता का आयोजन ग्राफिक एरा के कोडेव क्लब ने कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग विभाग के सहयोग से किया। समारोह में एचओडी डॉ० अनुपम सिंह के साथ शिक्षक सुशांत चमोली आदि मौजूद रहे।

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